किसी वाहन का माइलेज, हैंडलिंग और सुरक्षा काफी हद तक टायर के प्रेशर पर निर्भर करती है। अगर प्रेशर सही तरीके से रखा जाए, तो इंजन पर कम दबाव पड़ता है और ईंधन की बचत होती है। आमतौर पर कार में 30 से 35 PSI का प्रेशर सही माना जाता है, लेकिन हर कार का अपना मानक होता है। आपको यह जानकारी ड्राइवर साइड के डोर फ्रेम पर लगे स्टिकर या कार मैनुअल में मिल जाएगी।
सही टायर प्रेशर के फायदेबेहतर माइलेज: टायर का घर्षण कम होता है, जिससे वाहन आसानी से चलता है और पेट्रोल-डीज़ल की खपत कम होती है।
सुरक्षित हैंडलिंग: सही प्रेशर के साथ, कार सड़क पर ज़्यादा संतुलित और नियंत्रण में रहती है।
लंबी उम्र: टायर जल्दी खराब नहीं होते और लंबे समय तक चलते हैं।
टायर प्रेशर कैसे जांचें
ठंड में टायरों की जांच करें: सही रीडिंग पाने के लिए कार को कुछ घंटों के लिए पार्क करने के बाद हमेशा टायर प्रेशर की जांच करें।
कार स्टिकर देखें: अनुशंसित प्रेशर ड्राइवर साइड के दरवाजे के अंदर लिखा होता है।
मैनुअल देखें: अगर स्टिकर उपलब्ध नहीं है, तो कार का मैनुअल देखें।
गलत प्रेशर से होने वाले नुकसान
कम प्रेशर: टायर जल्दी घिस जाते हैं, माइलेज कम हो जाता है, ग्रिप और ब्रेकिंग दोनों खराब हो जाते हैं।
ज़्यादा प्रेशर: टायर फटने का खतरा बढ़ जाता है, कार उछलने लगती है और टायर जल्दी घिस जाता है।
इसलिए, हर कार मालिक को समय-समय पर टायर प्रेशर की जाँच करनी चाहिए। यह छोटी सी आदत आपकी कार के प्रदर्शन और आपकी जेब, दोनों के लिए फायदेमंद है।
You may also like
बिहार सदियों से क्रांतिकारियों का केंद्र रहा : उपराष्ट्रपति
व्यापारिक गतिविधियों को बाधित करेगी नगरपालिका पथ कर नियमावली : चेंबर
राम चरण के 18 सालों का जश्न: 'पेड्डी' के नए पोस्टर ने बढ़ाई उत्सुकता!
अभिषेक अच्छा प्रदर्शन करते हुए अपने देश को जिताए : पिता राजकुमार शर्मा
IND vs PAK Final, Asia Cup 2025: भारत बनाम पाकिस्तान, जान लीजिए कैसा रहा है दुबई की पिच का मिजाज़